भारतीय महिला क्रिकेट टीम ने रविवार को कोलंबो के आर प्रेमदासा क्रिकेट स्टेडियम में अपने चिर-प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान को 88 रनों के बड़े अंतर से मात दे दी है। इस जीत के साथ ही भारतीय महिला टीम पाकिस्तान पर अपनी पकड़ और मजबूत करने में कामयाब रही।
टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करते हुए भारतीय टीम ने बोर्ड पर 247 रन का विशाल स्कोर खड़ा किया। जवाब में, 248 रनों के लक्ष्य का पीछा करने उतरी पाकिस्तानी टीम भारतीय गेंदबाजों के सामने टिक नहीं पाई और केवल 43 ओवर में 159 रन पर सिमट गई।
गेंदबाजी में दिखा भारत का दम
भारत की इस शानदार जीत में गेंदबाजों का प्रदर्शन सबसे अहम रहा। क्रांति गौड़ और दीप्ति शर्मा ने बेहतरीन गेंदबाज़ी का प्रदर्शन किया। क्रांति गौड़ ने 10 ओवर में मात्र 20 रन देकर 3 महत्वपूर्ण विकेट झटके और उन्हें प्लेयर ऑफ द मैच घोषित किया गया। वहीं, दीप्ति शर्मा ने भी 9 ओवर में 45 रन देकर 3 विकेट हासिल किए। इन दोनों के अलावा, स्नेह राणा ने भी 2 विकेट अपने नाम किए।

जीत के बाद हाथ न मिलाने की रणनीति
इस मैच में भारतीय महिला टीम की जीत की उम्मीद तो पहले से ही थी, लेकिन मैच के बाद एक बार फिर सबका ध्यान उनकी हाथ न मिलाने वाली रणनीति पर गया।
भारतीय टीम ने मैच खत्म होने के बाद एक बार फिर पाकिस्तानी खिलाड़ियों से हाथ मिलाने से इनकार कर दिया। भारतीय खिलाड़ी सीधे अपने ड्रेसिंग रूम की ओर चलते बने। यह रणनीति नई नहीं है; हाल ही में संपन्न एशिया कप 2025 में सूर्यकुमार यादव की अगुवाई वाली भारतीय पुरुष टीम ने भी पाकिस्तान को तीन शर्मनाक हार देने के बाद पाकिस्तानी खिलाड़ियों से हाथ नहीं मिलाया था।
यही नहीं, इस मैच में भी भारतीय कप्तान हरमनप्रीत कौर ने टॉस के दौरान भी पाकिस्तानी कप्तान फातिमा सना से हाथ नहीं मिलाया। आसान जीत हासिल करने के बाद भारतीय टीम ने डगआउट में लौटने से पहले पारंपरिक हाथ मिलाने की प्रथा से इनकार कर दिया, जिससे यह स्पष्ट होता है कि दोनों टीमों के बीच यह अघोषित विरोध की नीति अब भारतीय क्रिकेट का हिस्सा बनती जा रही है।