Do Patti Review: काजोल और कृति सेनन स्टारर फिल्म दो पत्ती के चर्चे काफी वक्त से हो रहे थे अब यह नेटफ्लिक्स पर सरिता हो गई है अगर आप भी इसे फिल्म को देखने का प्लान बना रहे हैं तो आप पहले पढ़ लीजिए हमारे रिव्यू।
काजोल और कृति सेनन स्टार फिल्म दो पत्ती का ट्रेलर जब सामने आया तब देखने वालों के मन में सवाल उठता कि आखिर यह फिल्म किस बारे में होगी सस्पेंस से भारी दो जुड़वा बहनों की कहानी एक पुलिस इंस्पेक्टर और एक हैंडसम शाहिर शेख को साथ मिलकर ऐसा बनाया गया है जिसे देखने का लालच फैंस के मन में आ रहा है यही सवाल मेरे भी मन में था जब मैं दो पत्ती का ट्रेलर देखा था ट्रेलर देख कर लगा था कि यह कहानी दो बहनों और उनके बीच आए एक हैंडसम डूड के बारे में होगी जो की है भी लेकिन चीज जितनी दिख रही है उससे कई ज्यादा उलझी हुई है।
क्या है फिल्म की कहानी।
कहानी की शुरुआत होती है झारखंड के छोटे गांव देवीपुर से जहां इंस्पेक्टर विद्या ज्योति (काजोल) का ट्रांसफर हुआ है जज पिता और वकील मां की बेटी विद्या उर्फ विजे न्याय और कानून को आम लोगों से अलग तराजू में तोड़ती है पैसे से पुलिस वाली होने के साथ-साथ वह वकील भी है वकालत की डिग्री पाने के बाद उसने अपने सगे भाई को भी नहीं छोड़ा था उसे भी उसकी गलती के चलते जेल की हवा खिला दी थी एक शाम थाने में आई मारपीट की आवाज की शिकायत को सीरियस लेकर विजे एक ऐसी गुत्थी में फंस जाती है जो उसके दिन का चैन और रातों की नींद उड़ा देती है।
शिकायत करने वाले का पता लगाने पहुंची विजे की मुलाकात सौम्या (कृति सेनन) और उसकी मां जी से होती है सौम्या के चेहरे पर चोट से पता चलता है कि उसे किसी ने मारा है लेकिन वह कहती है कि कैबिनेट से उसे चोट लगी है सौम्या की चिंता में विजे उसका पीछा शुरू करती है जिसकी वजह से उसकी मुलाकात सौम्या की जुड़वा बहन शैली (कृति सेनन) से होती है।
सीधी सादी सौम्या की बहन शैली एकदम उससे अलग है बिगड़ैल और बेपरवाह मां जी से विजे को पता चलता है कि यह दोनों बहनों को अमीर घर के गुस्सा लड़के ध्रुव से प्यार हो गया था हरियाणा के मंत्री के बेटा ध्रुव का अपनी पैंट और गुस्से दोनों पर काबू नहीं है दोनों बहनों के बीच घूमने के बाद ध्रुव सौम्या को अपनी बीवी चुनता है प्यार में सौम्या खुशी-खुशी बिहार तो रचा लेती है लेकिन फिर उसके साथ ही वही होता है जो एक वक्त पर उसकी मां के साथ हुआ करता था।
हर छोटी बड़ी गलती बात और बिना किसी खास कारण के सौम्या को रोज ध्रुव के गुस्से का शिकार होना पड़ता है उसकी बहन शायरी उसे ड्रामा क्वीन मानती है और ध्रुव एक क्लासिक हस्बैंड की तरह उसे पर हाथ उठाने के बाद उससे माफी मांग लेता है जी हां रोमांस और सस्पेंस से भरी दिखने वाली दो पत्ती असल में घरेलू हिंसा के दर्द को कहानी दिखती है।
काजल कृति से बेहतर है शाहिर।
परफॉर्मेंस की बात करें तो काजल का काम फिल्में ठीक-ठाक है उन्होंने देसी पुलिस वाली बनने की काफी कोशिश की है लेकिन उसमें पूरी तरह कामयाब नहीं हो पाई कृति सेनन को दो पत्ती के जरिए पहली बार डबल रोल में देखा जा रहा है उन्होंने अपने रोल से सिया साबित कर दिया है कि इंडस्ट्री में उनका फ्यूचर ब्राइट है शैली और सौम्या के रूप में आपको कृति के दो रूप साथ देखने को मिलते हैं और तब आपको समझ आता है कि अपने क्राफ्ट में वह कितना आगे निकल गई है हालांकि एक एक्टर जो पूरी तरह से आपका दिल जीत कर काजोल और कृति सेनन को इग्नोर करने पर मजबूर कर देता है वह है शाहिर शेख।
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